नैनीताल
कुमाऊं विश्वविद्यालय की महिला मोर्चा अध्यक्ष बनीं प्राची नेगी
सीएन, नैनीताल। कुमाऊँ विश्वविद्यालय की प्राची नेगी महिला मोर्चा अध्यक्षा बनीं है। प्राची नेगी, डीएसबी कैंपस की एक मेधावी छात्रा रही हैं, जिन्होंने अपने स्नातक में 9.2 सीजीपीए के साथ स्वर्ण पदक प्राप्त किया। वर्तमान में, वह पीएचडी की तैयारी कर रही हैं और एक पीएचडी स्कॉलर हैं। पेशेवर रूप से, वह एक शिक्षिका हैं और स्कूलों में पढ़ाती थीं, लेकिन चुनाव के उद्देश्य से उन्होंने अपने करियर से ब्रेक लिया है। प्राची नेगी ने डीएसबी कैंपस में बदलाव लाने के लिए चुनाव लड़ने का फैसला किया और गर्ल्स वाइस प्रेसिडेंट के पद के लिए उम्मीदवार थीं। हालांकि, अब उन्हें कुमाऊँ विश्वविद्यालय के तहत महिला मोर्चा की अध्यक्षा के रूप में चुना गया है, जो एक बड़ी उपलब्धि है। चुनाव के दौरान, विपक्षी दलों ने उन्हें ₹5 से ₹15 लाख रुपये और 3 iPhones का लालच दिया, लेकिन प्राची नेगी ने छात्रों के हितों को प्राथमिकता देते हुए इन प्रस्तावों को ठुकरा दिया। उनकी ईमानदारी और निष्ठा के लिए हम उनकी सराहना करते हैं। प्राची नेगी का कहना है कि हमारे देश और उत्तराखंड में लड़कियों को अधिक मात्रा में चुनाव में भाग लेना चाहिए और उनका मनोबल बढ़ाना चाहिए। वह लोगों से कहती हैं कि लड़कियों को हर क्षेत्र में आगे बढ़ना चाहिए, चाहे वह राजनीति हो या कोई सं अन्य क्षेत्र। उनकी इस पहल से न केवल लड़कियों को प्रेरणा मिलेगी, बल्कि समाज में भी एक सकारात्मक बदलाव आएगा। प्राची नेगी ने सामाजिक कार्यों में भी अपनी सक्रिय भागीदारी दिखाई है। वह लैंग्वेजेस की फ्री कोचिंग्स देती हैं और डीएसबी कैंपस के अंदर पीजी और हॉस्टल के बच्चों के लिए टिफिन सर्विसेज भी चलाती हैं। उनकी इस पहल से छात्रों को काफी लाभ हुआ है और यह उनके लिए एक बड़ी मदद है। आज की इस उपलब्धि पर प्राची नेगी का कहना है, “मैं अपने छात्र-छात्राओं के हितों के लिए हमेशा तत्पर रहूंगी। यह परिषद छात्रों का है और यहाँ बाहरी नेताओं की राजनीति नहीं चलेगी। मैं अपने छात्रों के लिए 100% समर्पित रहूंगी और उनकी हर समस्या का समाधान करने की कोशिश करूंगी। चाहे वह कैंपस हो, कॉलेज हो, पीजी हो या हॉस्टल, मैं हर जगह अपने छात्रों के साथ खड़ी रहूंगी।” उनकी यह प्रतिबद्धता छात्रों के लिए एक नई आशा की किरण है और हमें उम्मीद है कि वह अपनी जिम्मेदारियों का निर्वहन करते हुए छात्रों के लिए काम करेंगी और डीएसबी कैंपस को एक नई दिशा देंगी। प्राची नेगी की इस उपलब्धि पर डीएसबी परिषद के छात्र-छात्राओं में भी बहुत हर्ष और उल्लास की छवि पाई गई है। उन्होंने अपना चुनाव पूरी तरह से निर्दलीय लड़ा, बिना किसी फ्लैग के और बिना किसी टीम के। छात्र-छात्राओं का कहना है, “हम सब प्राची के साथ हैं और हमेशा रहेंगे, क्योंकि हमारे डीएसबी परिषद में एक ऐसा ही नेता चाहिए जो हमारे हितों के लिए काम करे।” उनकी यह प्रतिक्रिया प्राची नेगी के प्रति उनके विश्वास और समर्थन को दर्शाती है। हमें उम्मीद है कि प्राची नेगी अपनी जिम्मेदारियों का निर्वहन करते हुए छात्रों के लिए काम करेंगी और डीएसबी कैंपस को एक नई दिशा देंगी।
