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आज  28 जुलाई को है विश्व हेपेटाइटिस डे :  हर साल होती है लगभग 14 लाख लोगों की मृत्यु

आज  28 जुलाई को है विश्व हेपेटाइटिस डे :  हर साल लगभग 14 लाख लोगों की मृत्यु
सीएन, नैनीताल।
लिवर हमारे शरीर का सबसे अहम अंग है। लिवर के जरिए ही शरीर में मौजूद विषाक्त पदार्थों को बाहर निकालने में मदद मिलती है। लेकिन कई बार विभिन्न कारणों से लिवर सही तरीके से काम नहीं करता है और हेपेटाइटिस जैसी गंभीर बीमारी हमें घेर लेती है। हेपेटाइटिस के प्रति लोगों को जागरूक करने के लिए हर साल 28 जुलाई को विश्व हेपेटाइटिस डे मनाया जाता है। हेपेटाइटिस होने पर व्यक्ति के लिवर में सूजन आ जाती है और खाना पचाने में भी परेशानियों का सामना करना पड़ता है। किसी भी आम बीमारी के मुकाबले हेपेटाइटिस का इलाज काफी महंगा होता है। इसलिए इस बीमारी के लक्षणों को पहचानते हुए हेपेटाइटिस का इलाज कराना जरूरी है। इस गंभीर बीमारी की चपेट में आने के कारण हर साल लाखों लोग अपनी जान गवां देते हैं।
लिवर हमारे शरीर का सबसे अहम अंग है। लिवर के जरिए ही शरीर में मौजूद विषाक्त पदार्थों को बाहर निकालने में मदद मिलती है। लेकिन कई बार विभिन्न कारणों से लिवर सही तरीके से काम नहीं करता है और हेपेटाइटिस जैसी गंभीर बीमारी हमें घेर लेती है। हेपेटाइटिस के प्रति लोगों को जागरूक करने के लिए हर साल 28 जुलाई को विश्व हेपेटाइटिस डे मनाया जाता है। हेपेटाइटिस होने पर व्यक्ति के लिवर में सूजन आ जाती है और खाना पचाने में भी परेशानियों का सामना करना पड़ता है। किसी भी आम बीमारी के मुकाबले हेपेटाइटिस का इलाज काफी महंगा होता है। इसलिए इस बीमारी के लक्षणों को पहचानते हुए हेपेटाइटिस का इलाज करवाना जरूरी है। इस गंभीर बीमारी की चपेट में आने के कारण हर साल लाखों लोग अपनी जान गवां देते हैं। हर साल 28 जुलाई को विश्व हेपेटाइटिस डे के रूप में मनाया जाता है। इस दिन को मनाने का मुख्य मकसद लोगों को हेपेटाइटिस के प्रति लोगों को जागरूक करने और अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर इस बीमारी के प्रति इलाज के प्रयासों को आगे बढ़ाने का है। विश्व स्वास्थ्य संगठन के अनुसारए हेपेटाइटिस की बीमारी 5 तरह की होती है. ए,बी,सी,डी और ई। दरअसल ये 5 तरह के वायरस होते हैं। विश्व हेपेटाइटिस डे के मौके पर दुनिया के विभिन्न देशों में कई तरह के कार्यक्रमों का आयोजन किया जाता है जिसमें इस गंभीर बीमारी के प्रति लोगों को जागरूक किया जाता है। ताकि इस बीमारी का खतरा कम किया जा सके और लोगों की जांच बचाई जा सके। वर्ल्ड हेपेटाइटिस डे मनाने की शुरुआत वर्ष 2010 में की गयी थी। विश्व स्वास्थ्य संगठन ने मई 2010 में 63वें विश्व स्वास्थ्य सम्मेलन के दौरान हेपेटाइटिस.बी वायरस के खोजकर्ता व नोबेल पुरस्कार विजेता प्रो. बारूच सैमुएल ब्लूमबर्ग के जन्मदिन को विश्व हेपेटाइटिस दिवस के रूप में मनाने का प्रस्ताव पारित किया गया था। प्रोफेसर बारूक ब्लमबर्ग को वर्ष 1976 में फिजियोलॉजी या चिकित्सा में नोबेल पुरस्कार से सम्मानित किया गया था। तब से हर साल सम्पूर्ण विश्व में 28 जुलाई को विश्व हेपेटाइटिस दिवस के रूप में मनाया जाने लगा। विश्व स्वास्थ्य संगठन डब्ल्यूएचओ द्वारा चिह्नित किए गए 8 वैश्विक सार्वजनिक स्वास्थ्य अभियानों में से एक है। विश्व स्वास्थ्य संगठन के अनुसार दुनियाभर में करीब 400 मिलियन लोग हेपेटाइटिस बी व सी से संक्रमित हैं तथा इस बीमारी से हर साल लगभग 14 लाख लोगों की मृत्यु होती है। हेपेटाइटिस एक जानलेवा और खतरनाक रोग जिसके कारण लीवर प्रभावित होता है। यह रोग वायरल इन्फेक्शन होने के कारण होता है। इस रोग के कारण आमतौर पर जिगर लीवर सूज जाता है।
हेपेटाइटिस के लक्षण
हेपेटाइटिस रोग के सामान्य लक्षण जैसे कम भूख लगना अथवा जी मिचलाना, उल्टी होना। अत्यधिक थकान, मतली, पेट दर्द और सूजन, अनेक मामलों में पीलिया होना या बुखार आना है। रोग की गंभीर स्थिति में पैरों में सूजन होना और पेट में तरल पदार्थ का संचित होना है। रोग की अत्यंत गंभीर स्थिति में कुछ रोगियों के मुंह या नाक से खून की उल्टी हो सकती है। इसके अलावा खुजलाहट, वज़न का घटना, मूत्र का रंग गहरा हो जाता है।
हेपेटाइटिस रोग से बचाव व रोकथाम के उपाय
स्वच्छ व ताज़ा भोजन खाएं। बाजार के कटे फल व सलाद न खाएं। पानी को उबालकर पिएं। कभी भी अपने सेविंग रेजर, टूथब्रश और सूई को किसी से शेयर न करें, इससे  इन्फेक्शन के खतरे को कम किया जा सकता है। टैटू करने के वक्त उपकरणों से सावधान रहें। कान को छेद करते वक्त इस बात का ध्यान रखें कि वह साफ हो। सुरक्षित यौन सम्बन्ध रखें। गर्भवती महिला को संक्रमण होने पर इलाज ज़रूरी है। हेपेटाइटिस के विषय में युवाओं को जानकारी देना। शौच के बाद हाथों को स्वच्छ पानी व साबुन से अच्छी तरह धोएं।

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